दिल्ली सरकार ने मानसून के दौरान जलभराव से निपटने के लिए कमर कसी

सीसीटीवी के माध्यम से जल भराव वाले हॉटस्पॉट पर की जाएगी निगरानी

Delhi न्यूज़

New Delhi:- दिल्ली सरकार (Delhi Government) ने मानसून (Monsoon) के मौसम में दिल्ली में होने वाले जल भराव को रोकने के लिए कमर कस ली है. लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी ने राजधानी में विभिन्न जल भराव वाले हॉटस्पॉट की पहचान कर उनके लिए कार्य प्रारंभ कर दिया है, ताकि भारी बारिश के दौरान जलभराव को रोका जा सके.

विभाग की तैयारियों का जायजा लेने के लिए पीडब्ल्यूडी मंत्री आतिशी ने अधिकारियों के साथ एक समीक्षा बैठक की. उन्होंने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि मानसून से पहले जलभराव को रोकने के लिए व्यवस्था सुनिश्चित किये जाए ताकि जनता को किसी प्रकार की असुविधा न हो. मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि लोक निर्माण विभाग, नालों से गाद निकालने का कार्य निर्धारित समय सीमा में पूरा कर इसकी साप्ताहिक रिपोर्ट प्रस्तुत करे.

विदित हो कि पीडब्ल्यूडी ने दिल्ली भर में 165 जल जमाव स्थलों और 5 हॉटस्पॉट की पहचान की है, इन क्षेत्रों में जल जमाव की समस्या से निपटने के लिए प्रशासन पूरी तरह से तैयार है.

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मानसून सीजन के लिए सरकार ने की तैयारी-

समीक्षा बैठक में जानकारी दी गई कि दिल्ली में, पीडब्ल्यूडी ने 128 पंप हाउस स्थापित किए हैं, जिनमें 700 से अधिक पंप लगाए गए हैं. इनमें से 11 पंप हाउस पूरी तरह से स्वचालित व सेंसरयुक्त हैं. जो जल स्तर बढ़ने पर स्वचालित रूप से काम करना प्रारंभ कर देते हैं.

मानसून के दौरान, पीडब्ल्यूडी का केंद्रीय नियंत्रण कक्ष 24 घंटे सीसीटीवी निगरानी के माध्यम से गंभीर जलभराव वाले क्षेत्रों की निगरानी करेगा.

इन 5 जलजमाव वाले हॉटस्पॉट,न्यू रोहतक रोड,  जकीरा नगर फ्लाईओवर के नीचे, लोनी रोड गोलचक्कर, जहांगीरपुरी मेट्रो स्टेशन, कराला कंझावला रोड आदि पर विभाग चौबीसों घंटे काम कर रहा है. इन क्षेत्रों में जलभराव को रोकने के लिए दिल्ली जल बोर्ड द्वारा कई उपाय किए गए हैं। इसमें मौजूदा पंप हाउसों की क्षमता बढ़ाना, नाली संशोधन, नए नालों का निर्माण और कई अन्य समाधान शामिल हैं.

बैठक में मानसून के दौरान मोबाइल पंप इकाइयों की तैनाती, नालों की डिसिल्टिंग के पहले चरण में 31 मई तक कार्य पूरा करने, 10 अन्य स्थानों पर नियंत्रण कक्ष स्थापित करने, शिकायतों के लिए हेल्पलाइन नंबर जारी करने जैसे कार्यों के बारे में जानकारी दी गई.

वहीँ दूसरी और लोक निर्माण विभाग द्वारा 3 महतवपूर्ण हॉटस्पॉट पर जल भराव रोकने के लिए बेहतर उपाय किए जा रहे हैं.

मिंटो ब्रिज पर जलजमाव को रोकने के लिए सरकार ने पिछले साल कई स्थायी कदम उठाए और अप्रत्याशित बारिश के बावजूद लोगों को यहां जलजमाव का सामना नहीं करना पड़ा. पीडब्ल्यूडी ने एक अतिरिक्त नाला भी बनाया है. जल जमाव क्षेत्र की निगरानी सीसीटीवी कैमरों द्वारा 24*7 की जाती है और स्वचालित जल स्तर पंप स्थापित किए गए हैं.

प्रह्लादपुर अंडरपास, दो साल पहले तक यहां बार-बार जलभराव के मामले सामने आते थे. इसे रोकने के लिए पीडब्ल्यूडी ने 7.5 लाख लीटर क्षमता का भूमिगत जलाशय बनाया है और यहां 600 हॉर्स पावर का स्थायी पंप हाउस भी स्थापित किया है. नतीजतन, पिछले मानसून के मौसम में यहां जलभराव की समस्या नहीं थी.

आईपी ​​एस्टेट रिंग रोड पर जलजमाव की समस्या को खत्म करने के लिए पिछले वर्ष यहां 5 लाख लीटर क्षमता का पंप बनाया गया था, साथ ही 650 मीटर नाला भी बनाया गया था. इससे पिछले साल जलभराव को रोकने में मदद मिली थी.

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