Greater Noida: ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित सुपरटेक इको विलेज-2 (Supertech Ecovillage 2) सोसाइटी के टॉवर नंबर 6 बी की नौवीं मंजिल के सॉफ्ट में दो बच्चों के गिरने के मामले की जांच ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी (Greater Noida Authority) ने शुरू कर दी है.
इस मामले को अति गंभीर मानते हुए ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के सीईओ सुरेंद्र सिंह ने अधिकारियों की टीम को घटनास्थल पर जाकर मुआयना को कहा था। प्रारंभिक जांच में पता चला है कि बिल्डर ने प्राधिकरण से कंपलीशन सर्टिफिकेट ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट लिए बगैर फ्लैट खरीदारों को कब्जा दे दिया। जिस सॉफ्ट से बच्चे नीचे गिरे थे, वहां पर अनेक खामियां पाई गई हैं, जिसके बाद बिल्डर को नोटिस जारी कर तीन दिन में जवाब मांगा है। संतोषजनक जवाब न मिलने पर लीज डीड की शर्तों के अनुसार कार्रवाई की जाएगी।
ग्रेटर नोएडा वेस्ट के इको विलेज-2 सोसाइटी में दो बच्चों के सॉफ्ट में गिरने के मामले की जांच करने के लिए प्राधिकरण की टीम सोसायटी पहुंची। जीएम प्रोजेक्ट एके अरोड़ा, सीनियर मैनेजर सुधीर कुमार, ब्रह्म सिंह और शंकर की टीम ने घटनास्थल पर जाकर मुआयना किया। जांच के दौरान पाया गया कि जिस सॉफ्ट से बच्चे नीचे गिरे थे, उसे एल्युमिनियम के डोर, पैनल की बजाय एक्रेलिक सीट लगी थी, जो कि सुरक्षा के लिहाज से पर्याप्त नहीं है।
जांच में यह भी पता चला है कि बिल्डर ने प्राधिकरण से कंपलीशन सर्टिफिकेटर ऑक्यूपेंसी सर्टिफिकेट लिए बगैर फ्लैट खरीदारों को कब्जा दे दिया। इस समय सोसाइटी में बड़ी तादाद में लोग रह रहे हैं।
जीएम प्रोजेक्ट एक अरोड़ा ने अस्पताल में भर्ती बच्चों के अभिभावकों से फोन पर बात कर घटना और उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली। प्राधिकरण ने बिल्डर को बुधवार को नोटिस जारी कर तीन दिन में जवाब मांगा है।
सीईओ सुरेन्द्र सिंह ने चेतावनी दी है कि प्राधिकरण से पास नक्शे से हटकर किसी बिल्डर ने निर्माण किया है तो उसकी जांच कराकर सख्त कार्रवाई की जाएगी।
उन्होंने बताया कि घायल बच्चे स्वस्थ है। दोनों की हालात खतरे से बाहर है।
सुपरटेक इको विलेज 2 सोसाइटी के लोगों ने जांच करने गई टीम को बताया है कि केबल और फायर या कूड़े के निकासी के लिए जो सॉफ्ट बनाए हैं, वे खुले पड़े हैं, जिससे दुर्घटना की आशंका हमेशा बनी रहती है।
मनीष कुमार कहते हैं कि सिर्फ सुपरटेक इको विलेज 2 सोसाइटी में नहीं, बल्कि आस-पास की सोसायटियों में भी लगभग 80% टावर में सॉफ्ट खुले हैl ग्रेंटर नोएडा वेस्ट में 22 सोसाइटी ऐसी हैं, जहां पर बनाए गए सॉफ्ट खुले पड़े हैं, जो कि दुर्घटना के जोखिम को बढ़ा देते हैं।